Sister

दीदी तो मां जैसी  होती  है  और  उसका  प्यार  ममता ही होती  है  उसकी डाँट पापा जैसी  उसकी सलाह दादा जैसी  वो हमजोली  भी दोस्त जैसी होती है  उसकी बातें बिल्कुल मेरे मन जैसी होतीं  हैं  और उससे दूरी कुछ  ग्रहन जैसी  होती है  अखिर जो  सबकुछ पूरा  कर दे  जिसमें  हर रिश्ता हो  वो बहन ही तो होती  है  मेरी दीदी भी मुझे माँ जैसी लगती  है।                                      With love :)                                                       Your brother                                                        ...

●LIFE

कभी कभी आकांक्षा ही आवश्यकता  बन जाती  है  ऐसे अवसर  जीवन बार बार  नहीं  परोसता यदि  आपको  यह  जीवन  ने  आज  परोसा है तो  जल्दी  से इसे  चट कर जाईये क्योंकि इसके बाद आपका पेट  नहीं  भरेगा, भरेगा आपका मन -संतुष्टि  से और वास्तव  में  जीवन  उसी  का जीवंत  है  जिसके  पास  संतुष्टि बनाने और परोसने वाली  रसोई उसके स्वयं  के  पास  है।    
                                          - 'SHAIL' SMRITI

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